Budget 2024 इस बार मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल का पहला बजट होने जा रहा है, और यह विशेष रूप से किसानों के लिए महत्वपूर्ण हो सकता है। पिछले लोकसभा चुनावों में बीजेपी को बहुमत नहीं मिल पाने का प्रमुख कारण किसानों की नाराजगी को माना गया था। एमएसपी की मांग को लेकर किसान लंबे समय से आंदोलन कर रहे हैं, वहीं अग्निवीर योजना ने भी ग्रामीण इलाकों में विरोध को जन्म दिया है। इसलिए, यह उम्मीद की जा रही है कि इस बार सरकार किसानों के लिए कुछ विशेष घोषणाएं कर सकती है, जिसमें प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की राशि बढ़ाने की संभावना भी शामिल है।
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (PM Kisan Samman Nidhi) में वृद्धि की संभावना
आर्थिक विशेषज्ञों का मानना है कि इस बजट में प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की राशि को बढ़ाकर 8,000 रुपये प्रति वर्ष किया जा सकता है। वर्तमान में, देश के लगभग 12 करोड़ किसानों को सालाना 6,000 रुपये की सहायता मिलती है। अगर यह राशि बढ़ाई जाती है, तो यह किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण राहत साबित हो सकती है। पीएम किसान सम्मान निधि की किश्तें हर चार महीने में जारी की जाती हैं, और इस बढ़ोतरी से किसानों की आर्थिक स्थिति में सुधार हो सकता है।
किसान क्रेडिट कार्ड की सीमा में वृद्धि
इस बजट में किसान क्रेडिट कार्ड पर उपलब्ध लोन की सीमा बढ़ाने की भी संभावना है। वर्तमान में, किसान क्रेडिट कार्ड पर 3 लाख रुपये तक का लोन सस्ती ब्याज दर पर मिलता है, जिसे बढ़ाकर 5 लाख रुपये तक किए जाने की उम्मीद है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने हाल ही में बैंकों के प्रमुखों के साथ बैठक में इस मुद्दे पर चर्चा की थी, जिससे यह संकेत मिलता है कि सरकार किसानों को आसान लोन सुविधा देने के लिए गंभीर है।
MSP पर संभावित घोषणाएं
किसानों की मुख्य मांगों में से एक है न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) को कानूनी गारंटी देना। विपक्ष भी इस मुद्दे पर किसानों का समर्थन कर रहा है, और कांग्रेस ने बजट से पहले MSP की कानूनी गारंटी की मांग की है। स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों के अनुसार, MSP को सी2+50 प्रतिशत फॉर्मूले के तहत बढ़ाने की जरूरत है। कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने केंद्र सरकार से अपील की है कि कृषि कल्याण के लिए इस बजट में प्रमुख घोषणाएं की जाएं।
किसानों की कर्ज माफी की संभावनाएं
जयराम रमेश ने भी किसान कर्ज माफी के लिए एक स्थायी आयोग की स्थापना की मांग की है। उनका कहना है कि कृषि ऋण माफी की आवश्यकता का आकलन करने और इसके कार्यान्वयन की निगरानी के लिए एक आयोग का गठन होना चाहिए। रमेश ने यह भी कहा कि यूपीए शासन के दौरान किसानों को 72,000 करोड़ रुपये का कर्ज माफ किया गया था, जिससे बड़ी संख्या में किसानों को लाभ हुआ था। मोदी सरकार ने गेहूं और धान की MSP में बढ़ोतरी की है, लेकिन यह महंगाई और कृषि इनपुट की बढ़ती कीमतों के हिसाब से पर्याप्त नहीं है।
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संगठन (Organization) | विवरण | उम्मीद की गई घोषणा |
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प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि | वर्तमान में, किसानों को सालाना 6,000 रुपये की सहायता मिलती है। | राशि बढ़ाकर सालाना 8,000 रुपये करने की संभावना। |
किसान क्रेडिट कार्ड | वर्तमान में 3 लाख रुपये तक का लोन सस्ती ब्याज दर पर उपलब्ध है। | लोन की सीमा को बढ़ाकर 5 लाख रुपये तक करने की संभावना। |
न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) | MSP को कानूनी दर्जा देने की मांग लगातार उठती रही है। | MSP को सी2+50 प्रतिशत फॉर्मूले के तहत बढ़ाने की संभावना। |
किसान कर्ज माफी | किसानों के कर्ज में बढ़ोतरी के चलते, कर्ज माफी की मांग उठ रही है। | कर्ज माफी की आवश्यकता का आकलन करने और इसके कार्यान्वयन के लिए स्थायी आयोग की स्थापना। |
India Budget 2024 से किसानों के लिए कई महत्वपूर्ण घोषणाओं की उम्मीद है। मोदी सरकार की इस बजट में की जाने वाली घोषणाएं किसानों की आर्थिक स्थिति को सुधारने और उनके मुद्दों को हल करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती हैं। यदि सरकार ने किसान सम्मान निधि की राशि बढ़ाने, किसान क्रेडिट कार्ड की सीमा बढ़ाने और MSP को कानूनी दर्जा देने जैसी घोषणाएं कीं, तो यह निश्चित रूप से किसानों के लिए एक बड़ी राहत होगी।